शुक्रवार, दिसंबर 18, 2009

९१ कोजी होम

मेरे पास दो सूटकेस हो गया था ....एक और सूटकेस इस लिए लेना पड़ा की
समान ज्यादा हो गया था ....आज हम लोगो का आख़री नास्ता था ....होटल
का नेपाली नौकर बहुत उदास था ...उसे भी अपना देश याद आ रहा था ...तीन साल में एक बार ,उसे अपने देश जाने को मिलता है उसके बच्चे हैं पत्नी हैं ,...
देखने के .....लिए बेचारा तरस जाता है ..आज उसने नास्ते में हमें जापानी
ढंग का नास्ता कराया ,अंडा और उसको चावल में मिक्स कर के खिलाया
मेरे लिए बिलकुल नया था ...निर्माता आये और जल्दी करने लगे चलने के
लिए हम सभी लोगो ने जल्दी जल्दी नास्ता किया और कार की तरफ चल दिए ...करीब बीस मिनट में हम सभी लोग ,नागोया एयर पोर्ट पहुँच गये .....
यहाँ से हमें ....टोकियो एयर पोर्ट पहुंचना था ...नागोया से ..टोकियो का रास्ता
हवाई जहाज से चालीस मिनट का था ....नागोया एयर पोर्ट पे मेरा एक सूटकेस रोक लिया गया और मुझे कस्टम वालो ने बुलाया ,मैं डर गया.....

जब मैं उनके पास पहुंचा तो उन्होंने एक मेरा सूटकेस खोलने को कहा ....मैं
समझा नहीं क्या हो गया ,ऐसा क्या मैंने रख लिया ...जो ले जाने वाला नहीं
है ..मैं कुछ समझा नहीं ,मैंने अपना सूटकेस खोला .....और कस्टम वाले देखने लगे ...सारी चीजे उलट पलट कर देखने लगे, वह पैकेट भी फाड़ के देखा जो सी ने मुझे दिया था ,जिसमें एक खूबसूरत नायटी और लोहे की पिन में उलझा लम्बे बालों का गुच्छा था .....कस्टम वाले बालों को ध्यान से देखने लगे ...और आपस में जापानी में बात -चित करने लगे ....फिर इंग्लिस में मुझसे पूछा ...यह तो
असली बाल है ...किसका है ?मैं समझा नहीं यह कहाँ से आया ......मेरे पास कोई उचित जवाब नहीं था ....फिर एक पल को याद आया ...कहीं सी ने तो नहीं रख दिया ....यह उस के बाल हैं करीब सोलह इंच लम्बा हो गा ...कहीं सी ने मुझे फसाने का काम तो नही किया ....मैं चुप रहा क्या कहता ...आखिर उन्होंने कुछ सोच कर मुझे जाने दिया ....और चलते -चलते पूछा यु आर इन
लव विद सम जापानी गर्ल ....मैंने बहुत झिगते हुए कहा....यस ...उसके बाद सभी सभी हंसने लगे ....और बालों को तो रख लिया ...मुझे जाने दिया .....
मेरी यूनिट के लोग पूछते रहे पर मैंने कुछ नहीं बताया ......बाल रखने का राज ....सी सेफोन कर के पूछा .......उसने जानते हैं क्या कहा ? मैं फिर आ सकूं उसके पास ......मैंने उस पे गुस्सा भी किया ...अगर मेरी पत्नी देख लेती तो क्या होता ...?अब वो जरुर जाने गी .....यह पढ़ कर .....
नागोया से हम सभी लोग टोकियो पहुंचे ....वहां से जाने वाला हवाई जहाज दो घटे लेट था ...हम सभी लोगों को एयर पोर्ट पे इन्तजार करना था ..........

1 टिप्पणी:

अजय कुमार ने कहा…

जापानी लोग आशिक को अपना बाल थमा देते हैं ,मजेदार लगा