फिल्म लाईन में करीब तीस साल तक काम किया ,लेकिन
कभी मौक़ा नहीं मिला देव साहब से मिलने क़ा .............
देखा तो बहुत बार, महबूब स्टूडियो में उनका मेकप रूम था
जब वह शूटिंग करते थे ...अपने ही मेकप रूम होते थे ,एक बार की बात है
मैं महबूब स्टूडियो के टेलीफोन केबिन के पास खड़ा था ,तभी देव साहब
तेजी से अपनी कार से उतरे खट-खट करते हुए अपने मेकप रूम की तरफ बढ़
गये ........बस वही एक झलक थी जिसे मैंने देखा था ...जो आज तक मेरे जेहन में है
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